तीसरा खंबा

विवाह या दत्तक ग्रहण से जाति नहीं बदलती।

rp_indian-lawyer.jpgसमस्या-

राजकुमार शर्मा ने इन्द्रा कालोनी, काठघर, गुलाबबाड़ी, मुरादाबाद, उत्तर प्रदेश से समस्या भेजी है कि-

मैं सामान्य श्रेणी में हूँ, लेकिन मेरी पत्नी ओबीसी श्रेणी से है। क्या उसे ओबीसी होने का लाभ शिक्षा विभाग में मिल सकता है? उस के जाति प्रमाण पत्र में पति के स्थान पर मेरा नाम है।

समाधान-

ब आप अपनी पत्नी के पति हैं तो जाति प्रमाण पत्र में पति के स्थान पर आप का ही नाम होगा। लेकिन आप ने यह नहीं बताया कि जाति प्रमाण पत्र ओबीसी जाति के लिए बना है अथवा नहीं। क्यों कि ओबीसी श्रेणी में आरक्षण का लाभ लेने के लिए यह जरूरी है कि जो व्यक्ति लाभ लेना चाहता है उस का ओबीसी श्रेणी का प्रमाण पत्र बना हुआ हो।

किसी भी व्यक्ति की जाति जन्म से होती है और विवाह तथा दत्तक ग्रहण से वह नहीं बदलती है। आप की पत्नी की जाति आज भी ओबीसी ही है। उस की जाति केवल इस आधार पर बदल सकती है कि उसे दूसरी जाति ने अपनी जाति में शामिल कर लिया हो,  उसे वे अपनी जाति का सदस्य मानते हों और उस जाति ने उसे पूरी तरह से अपना लिया हो। इस संबंध में पूर्व में आलेख लिखे गए हैं आप तीसरा खंबा पर सर्च कर के उन्हें पढ़ें।

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