तीसरा खंबा

स्कूटर मिस्त्री दरवाजों के सामने स्कूटर लगा कर रास्ता बंद कर देता है और गंदगी फैलाता है, क्या किया जाए?

 जयपुर से रईस खान पूछते हैं-
मारे घर के सामने एक स्कूटर सुधारने की दुकान है, उस का मालिक पूरे रोड़ पर गाड़ियाँ खड़ी कर देता है। वह पड़ौसियों और हमारे मकान के दरवाजों/गेटों के सामने गाड़ियाँ लगा कर उन्हें ठीक करता रहता है, इस से पूरे रोड़ पर जाम हो जाता है। हमारे घर भी काफी काला और गंदगी से भरा हो गया है। उस से कई बार झगड़ा हुआ। उस को मुहल्ले में कोई भी कुछ नहीं बोलता है वह बहुत बदतमीज किस्म का आदमी है। उस की दुकान मस्जिद की है, वह उस पर भी कब्जा कर के बैठा है। मस्जिद की कमेटी के कुछ आदमी उस के साथ मिले हुए हैं। उसे कैसे सबक सिखाया जाए कि वह लोगों को परेशान करना बंद कर दे। नगर निगम में उस ने सेटिंग कर रखी है। उस के खिलाफ मैं उच्च स्तरीय कार्यवाही करना चाहता हूँ। कृपया मेरा मार्गदर्शन करें। 
 उत्तर –
रईस भाई,
प ने जो समस्या बताई है वह केवल आप की नहीं है अपितु आप की गली के अधिकांश लोगों की है। इतना ही नहीं ऐसी समस्या केवल आप के मुहल्ले या शहर की हो। यह हर मुहल्ले और शहर में हो रहा है। यदि किसी स्थान पर कोई लड़ने-झगड़ने वाला व्यक्ति है और नगर निगम तथा पुलिस वालों से सांठ-गांठ कर के रखता है तो उस के विरुद्ध कोई भी नहीं बोलना चाहता। उस का कारण है कि यदि कोई व्यक्ति अकेला बोलता है तो वह व्यक्ति पहले तो उसी पर हावी होने की चेष्ठा करता है। कोई यदि नगर निगम या पुलिस को शिकायत करता है तो वहाँ उसे किसी तरह की सहायता नहीं मिलती। नतीजा यह होता है कि शिकायत करने वाले व्यक्ति को हानि होती है और वह थक हार कर बैठ जाता है। अदालतों की भी स्थिति ऐसी ही है वहाँ आप शिकायत करते  हैं तो शिकायत की सुनवाई में बरसों लग जाते हैं। मस्जिद कमेटी तक कुछ नहीं कर पाती है। कुछ लोग यह कह कर  ऐसे व्यक्तियों की तरफदारी करते हैं कि एक गरीब आदमी की रोजी को क्यों लात मारी जाए?
सी समस्याएँ व्यक्तिगत न हो कर सामाजिक हैं। इन समस्याओं सामाजिक रूप से ही निपटना चाहिए। वस्तुतः मुख्य बाजार या रिहायशी इलाके में इस तरह की दुकानें होनी ही नहीं चाहिए। अनेक शहरों में ऐसी दुकानों को नगर निगमो द्वारा हटा दिया गया है। आप भी ऐसी दुकान को हटवा सकते हैं लेकिन उस के लिए आप को कमर कसनी होगी। सब से पहले तो आप को इस समस्या के हल के लिए अपने ही मुहल्ले में समर्थन जुटाना होगा। इस के लिए आप यह कर सकते हैं कि आप कलेक्टर के नाम एक ज्ञापन बनाएँ और उस पर मुहल्ले में इस मिस्त्री से परेशान लोगों से हस्ताक्षर करवाएँ। इस काम में आरंभ में आप को परेशानी आ सकती है लेकिन आप प्रयत्न करेंगे और लोगों को समझाएँगे तो लोग हस्ताक्षर करने को तैयार हो जाएंगे। इस के उपरांत आप उस ज्ञापन को ले कर एक-दो लोगों को साथ ले जा कर कलेक्टर से मिल सकते हैं। यदि आप इस तरह का कई लोगों द्वारा हस्ताक्षरित ज्ञापन ले कर कलेक्टर से मिलें तो कलेक्टर उस पर कुछ न कुछ कार्यवाही अवश्य करेगा। उस की कार्यवाही से कोई हल न निकले तो सप्ताह भर बाद फिर से कलेक्टर से मिलें। जब तक कार्यवाही नहीं हो उस से मिलते रहें। मुझे लगता है इस विधि से आप की समस्या का कुछ तो हल निकल ही आएगा। 
हाँ तक कानून का प्रश्न है। मिस्त्री द्वारा इस तरह से मार्ग को अवरुद्