तीसरा खंबा

सम्पत्ति की इच्छानुसार व्यवस्था के लिए वसीयत करें

समस्या-

रमेश ने नगर कालाकांकर, जिला प्रतापगढ़, उत्तर प्रदेश से पूछा है-

मेरे नाना-नानी जी की तीन बेटियां हैं, नाना अपनी संपत्ति को तीनों बेटियो को बराबर बराबर देना चाहते हैं, परंतु नानी अपनी एक बेटी को तनिक भी हिस्सा देने के खिलाफ हैं। अब सवाल ये है कि क्या नाना जी के बाद नानी एक बेटी को दरकिनार कर संपत्ति दो भागों में बाँट सकती है? शायद नहीं, उन्हें बराबर हक देना ही पड़ेगा। परंतु नानी नाना के ना रहते हुए अपनी संपत्ति को बेचकर दो बेटियों को पैसा जरूर दे सकती हैं, इसका कोई कानूनी उपाय बताये कि उन्हें ऐसा करने से रोका जाए।

समाधान-

सम्पत्ति आपके नानाजी की है, नानीजी का अधिकार नाना पर तो है पर उनकी सम्पत्ति पर नहीं। इसलिए नाना यदि अपनी सम्पत्ति तीनों बेटियों को देना चाहते हैं और नानी को कुछ नहीं देना चाहते हैं तो वे तीनों बेटियों में सम्पत्ति को बराबर बाँटे जाने के लिए वसीयत कर सकते हैं। लेकिन यदि वे वसीयत नहीं करते हैं तो उनके बाद सम्पत्ति चार भागों में विभाजित होगी एक हिस्सा नानी का होगा। नानी अपने हिस्से से एक पुत्री को वंचित करने के लिए उनकी खुद की वसीयत कर सकती है या फिर उसे बेच कर उसका धन दो बेटियों में बाँट सकती है।

आपके नाना अपनी वसीयत में इस तरह की व्यवस्था कर सकते हैं कि उनकी सम्पत्ति तीनों की हो जाए और तीनों बहिनें नानी के जीवनकाल तक उस सम्पति को न बेच सकें और न ही उसका विभाजन कर सकें। नानी को उस सम्पत्ति में अपने जीवनकाल तक निवास करने और उसका उपभोग करने का अधिकार दे दिया जाए। इससे यह होगा कि नानी अपने जीवन काल में उस संपत्ति का उपभोग करती रहेंगी लेकिन उसे विक्रय या विभाजित नहीं कर सकेंगी। नानी के जीवन काल की समाप्ति के उपरान्त उक्त सम्पति तीनों बेटियों को प्राप्त हो जाएगी।

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