पत्नी आठ माह से मायके में है, क्या करूँ?
|सुनील कुमार कहते हैं-
सर जी, मेरी पत्नी को अपने मायके गए हुए आठ माह हो गए हैं लेकिन वह बोल रही है कि मैं अभी वापस नहीं आ सकती और उस के घर वाले मुझे धमकी देते रहते हैं। मैं बहुत परेशान हो चुका हूँ। कृपया आप मेरी मदद करें।
उत्तर –
सुनील जी,
पत्नी को आप जबरन तो उस के मायके से अपने घर ला नहीं सकते। उसे प्यार के बंधन से ही अपने पास रखना होगा। लगता है कि आप दोनों के बीच अभी स्नेह का वह बंधन बन ही नहीं पाया है कि वह खुद आप की और अपने गृहस्थ जीवन की परवाह करे और अपने आप चली आए। आप ने अपनी पत्नी से अवश्य ही यह पूछा होगा कि वह अभी आप के पास आ कर क्यों नहीं रह सकती? आप ने अपनी पत्नी का उत्तर प्रकट नहीं किया। कोई वजह होती तो उस का समाधान किया जा सकता था। आपने भी पत्नी के आप के साथ आ कर नहीं रहने का कोई कारण नहीं बताया है।
आप कारण तलाश कर उस का समाधान स्वयं तलाशिए। यदि कोई कारण नहीं है या कारण बहुत ही मामूली है तो उस का आप के साथ आ कर नहीं रहना जायज नहीं है। आप न्यायालय में हिन्दू विवाह अधिनियम की धारा-9 के अंतर्गत दांपत्य संबंधों की पुनर्स्थापना के लिए आवेदन प्रस्तुत कर सकते हैं। आवेदन पर अदालत में आप की पत्नी को आना पड़ेगा और आप के साथ नहीं रहने का कारण बताना पड़ेगा। अदालत आप दोनों को साथ रहने के लिए समझाएगी भी। ऐसे अनेक मामलों में मैं ने अदालत से पति-पत्नी को साथ रहने के लिए लौटते देखा है। यदि पत्नी के पास आप के साथ नहीं रहने का कोई वाजिब कारण नहीं है तो अदालत आप के पक्ष में दाम्पत्य अधिकारों की प्रत्यास्थापना के लिए डिक्री पारित कर देगी। तब भी यदि आप की पत्नी आप के साथ आ कर नहीं रहती है तो अदालत आप के आवेदन पर आप के पक्ष में विवाह-विच्छेद की डिक्री पारित कर सकती है
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9 Comments
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जहाँ लोग (पति-पत्नी) अपने पारिवार, समाज और भविष्य के प्रति गैर-जिम्मेदार सोच रखते हैं वहां अक्सर इस प्रकार की समस्या खड़ी हो जाती है.
आपसी तालमेल, भूल-चुक माफ़ी, या विकट परिस्थिति में सम्बन्ध विच्छेद इसका उचित हल है.
मूक रहना, समय गंवाना, तनाव बढ़ाना इत्यादि हरकतों से लोग अपना वर्तमान बाधित करते रहते हैं.
आपने क़ानून की दृष्टि से सलाह दी है. हमारा ज्ञानवर्धन हुआ. आभार.
– सुलभ
दिनेश जी कारण तो बहुत से हॊ सकते है, बिना जाने कया कहे, लडके मै, उस के मां बाप मै, या फ़िर लडकी मै उस के मां बाप मै किसी मै भी दोष हो सकता है, लेकिन एक घर बसने से पहले ही उजड रहा है, जिस घर की नींव ही ऎसे माहोल मै होगी आगे जा कर कितना मजबूत होगा?
आजकल वैसे इस तरह की घटनाएं बढ़ रही हैं
दिवेदी साहब और अभी तक के सभी टिप्पनिकर्ताओ की की बात से सहमत, वेसे कारण जो भी हो यह तीन बाते है, जिन पर गौर फरमाया जा सकता है !
एक आपसी समझ और कहीं पर एक को झुकना भी पड़े तो झुकना बेहतर क्योंकि गाडी अकेले पहिये से नहीं चल पाती !
दूसरा उन कारणों का गहन अध्ययन करना कि क्या वजह थी कि यह स्थिति आयी, अपनी कमिया तलाश करो इमानदारी से और उन्हें सुधारों ?
तीसरा कि अगर एक पक्ष महामूर्ख है, इस दबने को भी अपनी बड़ी कामयाबी समझकर खुश होता है कि मैंने उसको चने चबवा दिए, अब और चने चबवाने को मजबूर करूंगा तो दूर रहना ही बेहतर !
वैसे तो ऐसी कोई भी लडकी या महिला नही होगी जो अपने पति का घर बार छोड मायके मे आकर रहे.
कारण लडके ने नही बताया इसका मतलब साफ़ है कि लडका और उसका परिवार उक्त लडकी के प्रति व्यवहार ठीक नही रखते. जिससे व्यथित हो वह चली आई होगी.
अक्सर यह देखने मे आया है कि अपने कमाऊ बेटे को आजकल के मा बाप किसी लडकी (बहू) का गुलाम ना हो जाये इस डर से उनकी गृहस्थी बसने से पहले ही उजाड देते हैं.
मेरी समझ से आजकल यह फ़ेक्टर भी अति प्रभावी बन गया है. वैसे कानूनी दृश्टि से आपने सही हल बताया है.
रामराम.
"कोई वजह होती तो उस का समाधान किया जा सकता था।"
सही है, बिना वजह के कोई समाधान भला कैसे ढूँढा जा सकता है।
दिवेदी जी असल मे कारण तो अधिकतर छोटे ही होते हैं मगर उन्हें बडा बना लिया जाता है कोई न कोई झूठा दोश लगा कर भी। आज कल तो दहेज मँगने का आरोप आसानी से लगा दिया जाता है ऐसा ही मामला मेरे एक रिश्तेदार का भी है दोनो का प्रेम विवाह हुया था फिर भी 6 माह भी इकठे नहीं रह पाये लेने देने की कोई बात नहीं है लडकी न ससुराल आती है न लडके के पास न ही वो लोग कुछ कहते हैं मा बाप भी चुप हैं। लडके वाले कई बार पूछ चुके हैं मगर एक ही जवाब जब लडकी नहीं मानती तो क्या करें। 5-6 माह हो गये हैं । ऐसे मे लडके वालों को क्या करना चाहिये? धन्यवाद्