राजू भाई पत्नी के कारण परेशान हैं, वे क्या करें?
|राजू भाई बहुत परेशान हैं, तीसरा खंबा को लिखी ई-चिट्ठी में उन्हों ने अपनी परेशानी लिखी है। उन की शादी को जुम्मा-जुम्मा दो माह हुए हैं, और उन्हें यह पता चला है कि उन की पत्नी का किसी और के साथ भी चक्कर है। उन्हें यह भी पता लगा कि उन की पत्नी शादी से पहले तीन माह का गर्भपात करा चुकी है। राजू भाई ने उन की पत्नी और उस के प्रेमी की फोन पर बात सुन ली कि वे दोनों एक साल बाद राजू भाई का खून करने वाले हैं। यह बात राजू भाई ने किसी को नहीं बताई, और पत्नी को मायके भेज दिया। अब वे पूछते हैं कि उन्हें तलाक चाहिए और वे उस के लिए क्या कर सकते हैं?
राजू भाई बहुत विकट समस्या में फँसे हुए हैं। मैं भी चार-पाँच दिनों से सोच रहा हूँ कि उन को क्या सलाह दूँ?
राजू भाई की पत्नी का क्या अतीत रहा है? उसे भूल जाइए। उस का विवाह के पूर्व किसी से संबंध रहा है और वह पहले गर्भपात करा चुकी है तो भी। क्यों कि वह उस का वह जीवन था जिस पर आप का कोई अधिकार नहीं था। लेकिन यदि कोई पत्नी अपने अतीत को छोड़ कर किसी से विवाह कर के नया जीवन आरंभ करना चाहती है तो उसे पूरा अधिकार है। उस के होने वाले पति को चाहिए कि वह विवाह करने के पहले इन बातों की अच्छी तरह जाँच कर ले। लेकिन यदि उस ने यह जाँच नहीं की है और विवाह के बाद में उसे यह सब पता लगता है तो उसे पत्नी को उसी रूप में स्वीकार कर लेना चाहिए जिस रुप में उस का विवाह उस के साथ हुआ है।
यह सब ठीक है। लेकिन राजू भाई की समस्या यह भी है कि उन की पत्नी अपने प्रेमी से अब भी रिश्ता रखती है और दोनों साल दो साल में राजू भाई को निपटा देने की योजना बना रहे हैं, या उन्हों ने बना ली है।
मुझे लगता है कि राजू भाई को ये दोनों सूचनाएँ जो मिली हैं उन का स्रोत बहुत विश्वसनीय नहीं है और ये दोनों सूचनाएँ अभी मात्र संदेह की श्रेणी में आती हैं। लेकिन शक सारे संबंधों को जला कर खाक कर देता है। यह भी हो सकता है कि यह केवल शक हो और वास्तविकता कुछ और हो। इस कारण इस शक का निवारण शीघ्र कर लेना चाहिए। राजू भाई को इस स्थिति में सारी बात पता करनी चाहिए और सच का पता लगाना चाहिए।
जो कुछ उन्हों ने अपनी ई-चिट्ठी में मुझे बताया है यदि वह सच है और वास्तव में उन की पत्नी और उस का कथित प्रेमी उन के विरुद्ध कोई षड़यंत्र कर रहा है तो यह एक अपराध है। राजू भाई का ही नहीं हर नागरिक का कर्तव्य है कि किसी भी अपराध के होने के षड़यंत्र की जानकारी होते ही पुलिस को इत्तला करनी चाहिए। दंड प्रक्रिया संहिता की धारा यह स्पष्ट किया गया है कि जिस किसी को महत्वपूर्ण अपराध होने या किए जाने के इरादे की जानकारी होती है तो उसे उस अपराध के बारे में निकटतम पुलिस स्टेशन या निकटतम मजिस्ट्रेट को इस की सूचना देनी चाहिए।
राजू भाई को विश्वास है कि उन की पत्नी उनकी हत्या का षड़यंत्र कर रही है तो उन्हें इस की इत्तला पुलिस को करना चाहिए। यदि उन्हें पुलिस के पास जाने में किसी तरह की परेशानी है तो वे निकटतन मजिस्ट्रेट को लिखित में यह सूचना दे सकते हैं। इस से वे एक कानूनी कर्त
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14 Comments
व्यवहारिक सलाह दी है आपने।
वैज्ञानिक दृष्टिकोण अपनाएं, राष्ट्र को उन्नति पथ पर ले जाएं।
बड़ी विकट समस्या पर एक उचित व्यवहारिक सलाह.
हार्दिक आभार.
और हाँ, आज ४ सितम्बर है, आपका बेहद खास दिन,
जन्म-दिन की हार्दिक बधाइयाँ स्वीकार कर अनुगृहित करें.
चन्द्र मोहन गुप्त
जयपुर
http://www.cmgupta.blogspot.com
आदरणीय सर, नमस्कार।
आपने राजू भाई को एकदम उचित सलाह दी है। उन्हें यही करना भी चाहिए। लेकिन मेरे हिसाब से उन्हें अपनी पत्नि को मायके भेज देने के बजाय पहले उससे खुलकर दोस्ताना अंदाज़ में बासबूत यह स्वीकार करा लेना चाहिए था और सारे डिटेल प्राप्त करने के बाद ही तलाक जैसी कार्यवाही करना चाहिए। ताकि पत्नी के बेवफ़ा होने के सबूत के आधार पर तलाक आसान हो जावे अन्यथा कहीं पत्नि को कहीं से ज्ञान प्राप्त हो गया और उसने उल्टा इनको कानूनी दाँव पेंच में फ़ँसा दिया तो राजू भाई की स्थिति संकट में पड़ जाने की प्रबल संभावना है। ख़ुदा ख़ैर करे।
राजू भाई को एक ज़ेन्टलमैन की तरह,
किसी मनोरोग विशेषज्ञ से काउँसलिंग करनी चाहिये ।
आपका जन्मदिन है, और मुझे ख़बर भी नहीं..
चलिये मेरा बेख़बर मुबारिकवाद मँज़ूर कीजिये तो, जल्दी से ।
ये सलाह आज कल के वकील तो नही दे सकते, एक आप ही जो परोपकार की भावना से काम कर रहे है इसलिये इतनी बढ़िया सलाह मुफ्त मे दे रहे है ।
श्री दिनेश राय द्विवेदी जी!
आप की सलाह से सहमत हूँ।
आपको जन्मदिन की बहुत-बहुत बधाई एवं हार्दिक शुभकामनाएँ!
सही है पहले राजू भाई को सच्चाई का पता लगाना चाहिये केवल शक ठीक नही ।
एकदम उचित सलाह!
ek बात तो पक्की है कि दोनो मे मत भेद बढ गयी हैं जो शायद अब सुलह करने पर भी सही ना हो सकें बकी बिना सच जाने कोई क्या सलाह दे सकता है । तलाक ही इसका इलाज है
सही सलाह।
( Treasurer-S. T. )
बड़ी विकट समस्या है… !
आपके पास भी कैसे अनोखे किस्म के मामले आते हैं
आपने जो भी सलाह दी है , वो एकदम दुरुस्त और व्यवहारिक है.
आभार
एक उचित व्यवहारिक सलाह
ऎसे मामलो मै बिना पुरी जानकारी के कोई आम आदमी सलाह क्या दे ? लेकिन एक वकील के रुप मे आप से बिलकुल उचित सलाह दी, मै आप की सलाह से शत प्रतिशत सहमत हुं.
धन्यवाद