दांडिक और दीवानी न्यायालयों का एकीकरण व न्याय-शुल्क की समाप्ति : भारत में विधि का इतिहास-48 दिनेशराय द्विवेदी | 22/02/2010 | Legal History, विधिक इतिहास | 4 Comments More from my siteविलियम बेंटिंक के उपरांत 1861 तक की न्याय व्यवस्था : भारत में विधि का इतिहास-63चार्टर एक्ट 1833 और वैधानिक केंद्रीयकरण : भारत में विधि का इतिहास-62जिला न्यायालयों की अधिकारिता में वृद्धि : भारत में विधि का इतिहास-61लॉर्ड बेंटिंक के न्यायिक सुधार : भारत में विधि का इतिहास-60सदर अमीन का पद वैतनिक हुआ : भारत में विधि का इतिहास-59दांडिक न्याय प्रणाली में लॉर्ड हेस्टिंग्स के सुधार : भारत में विधि का इतिहास-58 Tags:Justice, Legal History, न्याय प्रणाली, भारत, विधिक इतिहास Related Posts मद्रास और मुंबई में अभिलेख न्यायालय : भारत में विधि का इतिहास-39 5 Comments | Jan 17, 2010 मुस्लिम विधि का पदार्पण और अकबर का धार्मिक न्याय को अधीन करने का युग परिवर्तनकारी कदम: भारत में विधि का इतिहास-7 7 Comments | Nov 29, 2009 पटना और लाहौर में उच्च न्यायालयों की स्थापना : भारत में विधि का इतिहास-83 7 Comments | May 12, 2010 लॉर्ड बेंटिंक के न्यायिक सुधार : भारत में विधि का इतिहास-60 3 Comments | Mar 14, 2010 About The Author DineshRai Dwivedi 4 Comments Udan Tashtari 23/02/2010 बहुत आभार! राज भाटिय़ा 23/02/2010 फ़िर से ग्याण भरी जानकारी.धन्यवाद ताऊ रामपुरिया 22/02/2010 बहुत धन्यवाद इस जानकारी के लिये. रामराम. डॉ. मनोज मिश्र 22/02/2010 आज की जानकारी बहुत महत्वपूर्ण है.
बहुत आभार!
फ़िर से ग्याण भरी जानकारी.
धन्यवाद
बहुत धन्यवाद इस जानकारी के लिये.
रामराम.
आज की जानकारी बहुत महत्वपूर्ण है.